सस्‍ते में कश्‍मीर घूमने का कीजिए प्‍लान,रेलवे की जल्‍द ट्रेन चलाने की तैयारी

4 days ago

Last Updated:July 29, 2025, 13:56 IST

Mata Vaishno Devi Katra to Srinagar- भारतीय रेलवे कश्‍मीर घाटी पर ट्रेनों की आवाजाही बढ़ाने के लिए दिनरात काम कर रहा है. ट्रेनों की संख्‍या बढ़ाने के लिए ट्रैकों की ट्रैकों की क्षमता बढ़ाना जरूरी है. इसके लिए ब...और पढ़ें

सस्‍ते में कश्‍मीर घूमने का कीजिए प्‍लान,रेलवे की जल्‍द ट्रेन चलाने की तैयारीश्रीनगर तक ट्रेनों की संख्‍या बढ़ाई जाएगी.

नई दिल्‍ली. अगर आप कश्‍मीर की खूबसूरत वादियों का घूमने का प्‍लान बना रहे हैं, लेकिन ट्रांसपोर्ट का सीधा साधन न होने की वजह से आप नहीं पा रहे हैं. क्‍योंकि अभी ट्रेन सीधी नहीं चलती है और फ्लाइट सीधी है लेकिन उसका किराया अधिक है. लेकिन अब आप तैयारी कर लें. भारतीय रेलवे घाटी में ट्रेनों की आवाजाही बढ़ाने के लिए जोर शोर से तैयारी कर रही है.

जून में माता वैष्‍णो देवी कटरा से श्रीनगर के बीच ट्रेन का आपरेशंस शुरू हो गया है. हालांकि अभी एक ही ट्रेन वंदेभारत चल रही है. लेकिन भारतीय रेलवे जल्‍द ही यहां पर ट्रेनों की संख्‍या बढ़ाने जा रहा है. इसके लिए दिन रात काम चल रहा है.

यह काम हो चुका है शुरू

घाटी में ट्रेनों की आवाजाही बढ़ाने के लिए ट्रैकों की क्षमता बढ़ाने की जरूरत है. इसके लिए रेलवे ने दिन रात काम शुरू कर दिया है. मंत्रालय के अनुसार टैम्पिंग और गिट्टी सफाई मशीनों की तैनाती से जम्मू-कश्मीर में यात्रियों के लिए सुरक्षित और सुविधाजनक यात्रा कराने का काम किया जा रहा है. यह मशीन रेल पटरियों के उचित प्रकार से एक सीध में रखने और स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए पटरियों के नीचे पत्थर के टुकड़े भरती है. इसने अब तक घाटी में रेलवे पटरियों के नीचे पत्थर के टुकड़े भरे जा रहे हैं.

दो अतिरिक्‍त मशीनें भी तैनात

साथ ही दो गिट्टी सफाई मशीनें (बीसीएम) भी तैनात की गई हैं. गिट्टी पटरियों पर जमा होने वाले पत्थर के टुकड़े हैं. यह रेलवे पटरियों को सहारा प्रदान करती हैं. ये मशीनें मिलकर काम कर रही हैं और लगभग 11.5 किलोमीटर पटरियों की गहराई से स्क्रीनिंग कर चुकी हैं. ट्रैकों की गुणवत्‍ता का आंकलन के लिए ट्रैक रिकॉर्डिंग कार (टीआरसी) और ऑसिलेशन मॉनिटरिंग सिस्टम (ओएमएस) रन भी कराया गया.

भेजी जा रही है गिट्टियां

टैम्पिंग और डीप स्क्रीनिंग कार्य को पूरा करने के लिए, कठुआ, काजीगुंड, माधोपुर और जींद स्थित गिट्टी डिपो से कश्मीर घाटी के रेलवे मार्ग से 17 गिट्टी रेक भेजे गए और उतारे गए.

एआई तकनी का होगा इस्‍तेमाल

यहां पर ट्रेनों का सुरक्षित ऑपरेशंस कराने के लिए एआई तकनीक का इस्‍तेमाल किया जाएगा. इस संबंध में पूर्व में रेल मंत्री अश्विनी वैश्‍णव बता चुके हैं कि ट्रैक पर आने वाली खामियों को पता लगाने के लिए एआई का इस्‍तेमाल करेगा.

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Jammu and Kashmir

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