'सबको पता है, गांधी का सरनेम कहां से मिला', प्रियंक कानूनगो का अबू आजमी पर तंज

2 hours ago

Last Updated:November 05, 2025, 18:38 IST

'सबको पता है, गांधी का सरनेम कहां से मिला', प्रियंक कानूनगो का अबू आजमी पर तंजप्रियंक कानूनगो ने अबू आजमी पर हमला बोला. (फाइल फोटो)

नई दिल्ली. महाराष्ट्र समाजवादी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष अबू आजमी के मदरसों के लोगों ने ही सबसे पहले महात्मा गांधी को ‘गांधीजी’ की उपाधि दी थी. इस बयान पर सियासत गर्मा गई है. राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) के सदस्य प्रियंक कानूनगो ने कहा कि यह तो सबको पता है कि उन्हें पिता से ‘गांधी’ सरनेम मिला है.

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) के सदस्य प्रियंक कानूनगो ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “गांधीजी के पिता का नाम करमचंद गांधी था. पिता से पुत्र को ‘गांधी’ सरनेम मिला. ये तो स्कूल में पांचवी क्लास के बच्चे को भी पढ़ाया जाता है. यह बात सबको पता है. इसीलिए बच्चों को स्कूल भेजो, ताकि बड़े होकर अबू आजमी जैसी बातें न करें. वैसे याद रहे, खिलाफत मूवमेंट का असली मकसद था तुर्की के इस्लामिक खलीफे का साम्राज्य बचाना.”

महाराष्ट्र समाजवादी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष अबू आजमी ने आईएएनएस से बात करते हुए कहा था कि मदरसों के लोगों ने ही सबसे पहले महात्मा गांधी को ‘गांधी जी’ की उपाधि दी थी. जब गांधी जी बंबई आए, तो मदरसों के लोगों ने खिलाफत भवन में उनका स्वागत किया और स्वतंत्रता संग्राम में सहयोग के लिए जो भी धन उनके पास था, वह दान कर दिया. मदरसा समुदाय ने हमेशा इस देश से प्यार किया है. स्वतंत्रता संग्राम के दौरान, हजारों मदरसा विद्वानों ने देश के लिए शहादत दी थी.

उन्होंने असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा पर निशाना साधते हुए कहा कि ये लोग केवल नफरत की राजनीति करते हैं. इसके अलावा इन लोगों को कुछ नहीं आता है. मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने पिछले दिनों एक बयान दिया था, जिसमें उन्होंने कहा था कि बिहार ही नहीं, पूरे देश में मदरसे बंद होने चाहिए. हम लोगों को आर्मी चाहिए, वैज्ञानिक चाहिए. हम चाहते हैं कि मुसलमान डॉक्टर और इंजीनियर बनें. हम लोगों को किसी ऐसे लोगों की जरूरत नहीं है, जो देश को नुकसान पहुंचाते हैं.

Rakesh Ranjan Kumar

राकेश रंजन कुमार को डिजिटल पत्रकारिता में 10 साल से अधिक का अनुभव है. न्यूज़18 के साथ जुड़ने से पहले उन्होंने लाइव हिन्दुस्तान, दैनिक जागरण, ज़ी न्यूज़, जनसत्ता और दैनिक भास्कर में काम किया है. वर्तमान में वह h...और पढ़ें

राकेश रंजन कुमार को डिजिटल पत्रकारिता में 10 साल से अधिक का अनुभव है. न्यूज़18 के साथ जुड़ने से पहले उन्होंने लाइव हिन्दुस्तान, दैनिक जागरण, ज़ी न्यूज़, जनसत्ता और दैनिक भास्कर में काम किया है. वर्तमान में वह h...

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Location :

New Delhi,Delhi

First Published :

November 05, 2025, 18:38 IST

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