Last Updated:November 18, 2025, 13:46 IST
लाल किला धमाके के आरोपी डॉ. उमर उन नबी की मानसिक अस्थिरता और मुजम्मिल से मतभेद ने आतंकी मॉड्यूल को कमजोर कर दिया था. इसी कारण उन लोगों ने सितंबर में हमले का प्लान टाल दिया था. उमर बेहद आक्रामक था और बात-बात पर गुस्से में आ जाता था.
दिल्ली ब्लास्ट के आरोपियों मुजम्मिल और उमर में गहरे मतभेद थे. लाल किला के पास हुए भयावह बम धमाके के मुख्य आरोपी डॉ. उमर उन नबी की मानसिक स्थिति और उसके साथी मुजम्मिल के साथ बढ़ते मतभेद ने आतंकी मॉड्यूल को अंदर से ही खोखला कर दिया था. खुफिया एजेंसियों के सूत्रों के मुताबिक ये सितंबर में ही कोई हमला करने वाले थे, लेकिन इसी आंतरिक फूट की वजह से वह टल गया. जांच से जुड़े वरिष्ठ अधिकारियों ने बताया कि उमर और मुजम्मिल के बीच वैचारिक और ऑपरेशनल स्तर पर गहरे मतभेद थे. उमर एक ऐसी घटना चाहता था जो दिखाऊ और प्रतीकात्मक हो, जिसमें भारी जनहानि हो. उसे सितंबर का महीना वैचारिक रूप से खास लगता था और वह बार-बार हथियार, केमिकल और लॉजिस्टिक्स की जल्द तैयारी पर जोर देता था. लेकिन मुजम्मिल उमर की बढ़ती उग्रता और अस्थिरता से चिंतित था. वह सितंबर प्लान का विरोध कर रहा था, जिससे मॉड्यूल में दरारें गहरी होती चली गईं.
हाल ही में सामने आए एक वीडियो में उमर को लोगों को धक्का देते और आक्रामक व्यवहार करते देखा गया है. खुफिया सूत्र इसे उमर की आक्रामकता का शुरुआती सबूत बता रहे हैं. सूत्रों के अनुसार जब मुजम्मिल को लगा कि उमर का यह व्यवहार सार्वजनिक हो रहा है और मॉड्यूल की एकता खतरे में है, तो उसने घबराहट में प्लान का कुछ हिस्सा एक महिला डॉक्टर को लीक कर दिया. यही वजह रही कि उमर का सपना कहे जाने वाला ‘सितंबर स्पेक्टेकुलर’ कभी अमल में नहीं आ सका.
‘उमर मानसिक रूप से अस्थिर था’
जांच एजेंसियों के पास मौजूद कई इनपुट बताते हैं कि उमर लंबे समय से मानसिक रूप से परेशान था. उसके साथ पढ़ने वाले साथी और सहकर्मी पूछताछ में बता चुके हैं कि प्लानिंग के दौरान उमर में अचानक गुस्से के दौरे पड़ते थे, वह वैचारिक रूप से बेहद कट्टर था और कई बार स्किजोफ्रेनिया जैसे लक्षण दिखाते थे. कॉलेज के फैकल्टी मेंबर्स ने बताया कि वह बार-बार कहता था कि उसे निगरानी में रखा जा रहा है. वह किसी को ‘सिर में गोली मारने’ या ‘सबक सिखाने’ जैसी . उसका व्यवहार असामान्य और खतरनाक माना जाता था.सूत्रों ने बताया कि कश्मीर में उमर के परिवार के कुछ सदस्य लंबे समय से मानसिक रोग की दवा ले रहे हैं, जिससे आनुवंशिक वजह की भी जांच हो रही है. जांचकर्ताओं का मानना है कि मानसिक अस्थिरता और कट्टरपंथी प्रोपेगैंडा के लंबे संपर्क ने मिलकर एक विस्फोटक मनोवैज्ञानिक-वैचारिक मिश्रण तैयार कर दिया था.
डिजिटल सामग्री, दस्तावेज और चैट से पता चलता है कि उमर सालों से गहन ब्रेनवॉशिंग का शिकार था. मुजम्मिल भी उसकी इस अस्थिरता से पूरी तरह वाकिफ था. पूछताछ में सामने आया है कि मुजम्मिल ने जानबूझकर उमर को प्लान के संवेदनशील ऑपरेशनल हिस्सों से दूर रखा था. वह उमर के गुस्से का इस्तेमाल कुछ खास मकसद के लिए करता था, लेकिन अहम फैसले खुद लेता था. फिर भी उमर की अस्थिरता हर बार आपसी अविश्वास को बढ़ाती रही. अब जांच एजेंसियां यह पता लगाने में जुटी हैं कि लाल किला धमाका सिर्फ कट्टर वैचारिकता की देन था या मानसिक अस्थिरता ने भी इसमें बराबर की भूमिका निभाई. दोनों के जहरीले मेल ने जिस मॉड्यूल को अंदर से तोड़ दिया, उसी टूटन की वजह से दिल्ली आज एक और बड़े हमले से बच गई.
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First Published :
November 18, 2025, 13:37 IST

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