Last Updated:July 15, 2025, 06:49 IST
FM College Sexual Harassment Case: ओडिशा के बालासोर में बीएड छात्रा ने यौन उत्पीड़न के खिलाफ आवाज उठाते हुए आत्मदाह करने की कोशिश की थी. एम्स भुवनेश्वर में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई. सीएम माझी ने दोषियों पर ...और पढ़ें

इस घटना को लेकर पूरे राज्य में भारी जनाक्रोश देखा गया है. (फाइल फोटो)
हाइलाइट्स
बालासोर की बीएड छात्रा की एम्स भुवनेश्वर में मौतसीएम माझी ने दोषियों पर सख्त कार्रवाई का आश्वासन दियाआरोपी प्रोफेसर और प्रिंसिपल गिरफ्तार, निलंबितओडिशा के बालासोर जिले के फकीर मोहन (FM College) ऑटोनॉमस कॉलेज की 20 वर्षीय बीएड छात्रा आखिरकार जिंदगी की जंग हार गई. उसने यौन उत्पीड़न के खिलाफ आवाज उठाते हुए आत्मदाह करने की कोशिश की थी. छात्रा का एम्स भुवनेश्वर में इलाज चल रहा था, जहां वह 90% जलने के बाद भर्ती हुई थी. ओडिशा ने मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने इसकी पुष्टि की है.
ओडिशा ने मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने छात्रा की मौत की पुष्टि की है. सीएम माझी ने X पर पोस्ट कर लिखा, ‘एफएम कॉलेज की छात्रा की मौत की खबर से अत्यंत दुखी हूं. सरकार की ओर से हर संभव कोशिश और एक्सपर्ट डॉक्टरों की मेहनत के बावजूद उसकी जान नहीं बचाई जा सकी. मैं भगवान श्री जगन्नाथ से प्रार्थना करता हूं कि दिवंगत आत्मा को शांति दें और परिवार को इस असहनीय दुःख को सहने की शक्ति दें.’
सीएम ने आगे कहा कि ‘इस मामले में दोषियों को किसी भी कीमत पर बख्शा नहीं जाएगा. मैंने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दे दिए हैं. राज्य सरकार पीड़ित परिवार के साथ पूरी मजबूती से खड़ी है.’
क्या था मामला?
इस छात्रा ने 12 जुलाई को कॉलेज गेट के बाहर खुद को आग लगा ली थी. वह 1 जुलाई से कॉलेज के बाहर शांतिपूर्ण धरना दे रही थी. उसने कॉलेज के शिक्षा विभागाध्यक्ष पर यौन उत्पीड़न और नंबर काटने की धमकी देने का आरोप लगाया था. छात्रा ने पहले भी कई शिकायतें की थीं, लेकिन कॉलेज प्रशासन पर आरोपों की अनदेखी का आरोप लगा.
इस हादसे में एक अन्य छात्र भी उसे बचाने की कोशिश में झुलस गया था. उसका भी इलाज चल रहा है. यह पूरा घटनाक्रम सीसीटीवी कैमरे में रिकॉर्ड हो गया, जिसे देखकर पूरे राज्य में भारी जनाक्रोश फूट पड़ा.
अब तक क्या हुआ एक्शन?
घटना के बाद पुलिस ने कॉलेज के प्राचार्य दिलीप घोष और शिक्षा विभाग के प्रमुख असिस्टेंट प्रोफेसर समीर साहू को गिरफ्तार किया है. समीर साहू पर यौन उत्पीड़न और आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला दर्ज किया गया है.
पुलिस सूत्रों के अनुसार, पीड़िता ने 30 जून को यौन उत्पीड़न की शिकायत कॉलेज प्रशासन को सौंपी थी और 1 जुलाई को ट्वीट कर सभी उच्च अधिकारियों को टैग किया था. इसके बावजूद, न तो असिस्टेंट प्रोफेसर को छुट्टी पर भेजा गया और न ही छात्रा की शिकायत को गंभीरता से लिया गया. 9 जुलाई को आंतरिक जांच समिति (ICC) ने अपनी रिपोर्ट सौंपी, लेकिन इस बीच आरोपी प्रोफेसर को कॉलेज में बने रहने दिया गया, जो कि यौन उत्पीड़न मामलों से जुड़े विशाखा दिशा-निर्देशों का उल्लंघन है.
पुलिस सूत्रों का कहना है कि असिस्टेंट प्रोफेसर समीर साहू ने उसे धमकाया भी था. पुलिस अब आंतरिक जांच समिति के सदस्यों से भी पूछताछ कर रही है और यह जानने की कोशिश कर रही है कि कौन-सी अंतिम बात ने छात्रा को खुद को आग लगाने पर मजबूर किया.
‘साथ नहीं आया कॉलेज प्रशासन’
पीड़िता की दोस्तों ने आरोप लगाया कि जब वह अपनी शिकायत की स्थिति जानने कॉलेज के प्राचार्य से मिलने गई, तो उसे उचित व्यवहार नहीं मिला. उसे अनसुना कर दिया गया और लगातार मानसिक दबाव झेलना पड़ा. इसी उपेक्षा और डर की वजह से, छात्रा ने आत्मदाह जैसा गंभीर कदम उठाया.
ओडिशा की उप मुख्यमंत्री प्रवाती परिदा ने एम्स भुवनेश्वर जाकर पीड़िता के परिजनों से मुलाकात की. उन्होंने कहा, ‘वह रात 11:45 बजे के करीब चली गई. डॉक्टर पिछले तीन दिनों से पूरी कोशिश कर रहे थे. मैंने परिवार से बात की है और सरकार की ओर से पूरी कार्रवाई का आश्वासन दिया है.’
An accomplished digital Journalist with more than 13 years of experience in Journalism. Done Post Graduate in Journalism from Indian Institute of Mass Comunication, Delhi. After Working with PTI, NDTV and Aaj T...और पढ़ें
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