Last Updated:August 05, 2025, 17:24 IST
Bihar Chunav 2025: बिहार चुनाव 2025 में कई आईएएस और आईपीएस अधिकारी वीआरएस लेकर चुनाव लड़ने की तैयारी में हैं. एस. सिद्धार्थ, शिवदीप लांडे और दिनेश कुमार राय जैसे नाम चर्चा में हैं. नीतीश और प्रशांत किशोर से जुड...और पढ़ें

हाइलाइट्स
बिहार चुनाव 2025 में कई IAS-IPS अधिकारी चुनाव लड़ने की तैयारी में हैं.शिवदीप लांडे और दिनेश कुमार राय जैसे नाम चर्चा में हैं.नीतीश के करीबी कितने अधिकारी चुनाव लड़ने का प्लान बना रहे हैं?बिहार चुनाव 2025 के नजदीक आते ही कई आईएएस और आईपीएस अधिकारियों में भी नेता बनने की चाहत या यूं कहें भूत सवार हो जाता है. हाल के वर्षों में कई उदाहरण देखे गए हैं, जिसमें ये अधिकारी वीआरएस लेकर या फिर रिटायर्ड होने के बाद चुनाव लड़ने उतर जाते हैं. नीतीश सरकार में भी ऐसे कई आईएएस और आईपीएस अधिकारी हैं, जो वीआरएस लेकर चुनाव लड़ने का इंतजार कर रहे हैं. पूर्व में भी कई अधिकारी चुनाव लड़कर जीते हैं और आज भी नीतीश कैबिनेट की शोभा बढ़ा रहे हैं. हाल के वर्षों में बिहार के पड़ोसी राज्य यूपी और झारखंड में भी ऐसा ही मामला देखने को मिला है. यूपी में भी पिछले विधानसभा चुनाव में राज्य के एक तेज-तर्रार आईपीएस अधिकारी ने वीआरएस लेकर न केवल चुनाव लड़ा, बल्कि आज योगी सरकार में मंत्री भी बने हैं. ऐसे में बड़ा सवाल यह है कि साल 2025 के बिहार चुनाव में कितने आईएएस और आईपीएस अधिकारी चुनाव लड़ने का प्लान बना रहे हैं? क्या इस लिस्ट में सीएम नीतीश के करीबी कुछ आईएएस-आईपीएस अधिकारियों का भी नाम है?
कुछ दिन पहले ही बिहार शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस. सिद्धार्थ की वीआरएस लेने की खबर आई. हालांकि, उन्होंने बाद में इसका खंडन कर दिया. लेकिन इसके बाद भी अभी भी बिहार के सियासी गलियारे में सोशल मीडिया पर उनकी गतिवधियां देखकर अंदाजा लगाया जा रहा है कि वह देर-सवेर चुनाव लड़ सकते हैं. पहले खबर आई थी कि एस सिद्धार्थ ने निजी कारणों का हवाला देते हुए वीआरएस के लिए आवेदन दिया है. सिद्धार्थ ही नहीं नीतीश कुमार की सरकार में अहम पदों पर तैनात भारतीय प्रशासनिक सेवा और भारतीय पुलिस सेवा के कई अधिकारियों की सियासी एंट्री ने हलचल मचा रखी है. कुछ नीतीश के करीबी माने जाते हैं तो कुछ दूसरे राज्य से आए हैं और प्रशांत किशोर की जन सुराज पार्टी के साथ नई सियासी जमीन तलाश रहे हैं.
नीतीश के करीबी कौन-कौन IAS-IPS लड़ेंगे बिहार चुनाव?
बता दें कि भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) और भारतीय पुलिस सेवा (IPS) नियम, 1968 के तहत कोई भी सेवारत अधिकारी बिना इस्तीफा दिए या स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (VRS) लिए चुनाव नहीं लड़ सकता. वीआरएस के लिए केंद्र सरकार की मंजूरी और 3 महीने का नोटिस पीरियड जरूरी है. कोई भी अधिकारी सेवानिवृत्ति के बाद स्वतंत्र रूप से किसी भी राजनीतिक दल में शामिल होकर चुनाव लड़ सकता है. ऐसे में अगले कुछ दिनों में और नए नाम सामने आ जाए तो हैरानी नहीं होगी.
जेडीयू, जन सुराज या बीजेपी… कौन पहली पसंद?
बता दें कि 2025 के चुनाव से पहले कई चर्चित नाम सामने आ रहे हैं, जो नीतीश सरकार में काफी प्रभावशाली रहे हैं. एस. सिद्धार्थ भले इंकार कर दिया है. लेकिन इसके अलावा भी कई नामों की चुनाव लड़ने की चर्चा है. शिवदीप लांडे ने तो पहले ही नई पार्टी बनाकर चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया है. उनके अलावा भी कई नाम हैं, जो प्रशांत किशोर पार्टी जन सुराज, बीजेपी, आरजेडी, जेडीयू और मुकेश सहनी की पार्टी वीआईपी से चुनाव लड़ सकते हैं.
दिनेश कुमार राय (IAS, रिटायर्ड): नीतीश के पूर्व निजी सचिव और बिहार सरकार के सचिव रहे राय जन सुराज पार्टी के साथ जुड़े हैं. वे 2025 में किसी प्रमुख सीट से उम्मीदवार हो सकते हैं.
अरविंद कुमार सिंह (IAS, रिटायर्ड): पूर्व डीएम और जन सुराज से जुड़े सिंह की सियासी एंट्री की चर्चा है.
गोपाल नारायण सिंह (IAS, रिटायर्ड): पूर्व संयुक्त सचिव, जन सुराज के साथ सियासी पारी की तैयारी में हैं.
लल्लन यादव (IAS, रिटायर्ड): नवादा के पूर्व डीएम, जन सुराज के जरिए मैदान में उतर सकते हैं.
मनीष वर्मा (IAS, ओडिशा कैडर): जेडीयू में हैं और इस बार नालंदा से चुनाव लड़ने की संभावना.
शिवदीप लांडे (IPS, 2006 बैच): बिहार के चर्चित IPS अधिकारी, जिन्होंने 2024 में VRS लिया था. चुनाव लड़ने जा रहे हैं.
जय प्रकाश सिंह (IPS, रिटायर्ड): जन सुराज के साथ सियासी मैदान में उतरने की संभावना.
दिल्ली पुलिस के पूर्व आईजी वी के सिंह भी वीआईपी पार्टी से चुनाव लड़ने का सपना पाले हुए हैं.
असम कैडर के आईपीएस अधिकारी आनंद मिश्रा ने लोकसभा चुनाव 2024 से पहले वीआरएस लेकर चुनाव लड़ने की मंशा जाहिर कर चुके हैं.
इसके साथ ही रिटायरमेंट के बाद सीएम नीतीश के प्रधान सचिव बने दीपक कुमार की चुनाव लड़ने की चर्चा है. साथ ही बिहार कैडर के चर्चित आईपीएस अधिकारी विकास वैभव की बीते कई सालों से चुनाव लड़ने की चर्चा जोड़ पकड़ने लगी है. बिहार में आर के सिंह, आरसीपी सिंह और यशवंत सिन्हा जैसे कई आईएएस अधिकारी का राजनीतिक करियर काफी सफल रहा है. फिलहाल बिहार सरकार में मंत्री पूर्व आईपीएस सुनील कुमार बी नौकरी छोड़कर नीतीश सरकार में मंत्री हैं.
रविशंकर सिंहचीफ रिपोर्टर
भारतीय विद्या भवन से पत्रकारिता की पढ़ाई करने वाले रविशंकर सिंह सहारा समय न्यूज चैनल, तहलका, पी-7 और लाइव इंडिया न्यूज चैनल के अलावा फर्स्टपोस्ट हिंदी डिजिटल साइट में भी काम कर चुके हैं. राजनीतिक खबरों के अलावा...और पढ़ें
भारतीय विद्या भवन से पत्रकारिता की पढ़ाई करने वाले रविशंकर सिंह सहारा समय न्यूज चैनल, तहलका, पी-7 और लाइव इंडिया न्यूज चैनल के अलावा फर्स्टपोस्ट हिंदी डिजिटल साइट में भी काम कर चुके हैं. राजनीतिक खबरों के अलावा...
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Patna,Patna,Bihar
First Published :
August 05, 2025, 17:24 IST