रक्सौल एसएचओ का काला कारनामा पहुंचा डीआईजी के पास, जांच में सच निकला मामला,फिर

6 hours ago

Last Updated:May 21, 2025, 17:48 IST

Motihari News: पुलिस महकमे के कर्मियों के भीतर भ्रष्टाचार का कीड़ा किस कदर समा गया है इसका एक और उदाहरण मोतिहारी से सामने आया है. यहां के रक्सौल थाना प्रभारी राजीव नंदन सिन्हा को दुकानदार से सामान लेकर पैसे मां...और पढ़ें

रक्सौल एसएचओ का काला कारनामा पहुंचा डीआईजी के पास, जांच में सच निकला मामला,फिर

रक्सौल थाना प्रभारी राजीव नंदन सिन्हा सस्पेंड किये गए.

हाइलाइट्स

पूर्वी चंपारण जिले के रक्सौल थाना प्रभारी राजीव नंदन सिन्हा निलंबित किये गए.चंपारण क्षेत्र डीआईजी हरिकिशोर राय की जांच में थाना प्रभारी दोषी पाए गए.एसपी स्वर्ण प्रभात ने की पिपराकोठी थानाध्यक्ष पर भी कार्रवाई की अनुशंसा.

मोतिहारी/अवनीश कुमार सिंह. भ्रष्टाचार को लेकर सरकार भले ही लाख दावे करे, लेकिन अधिकारी और कर्मचारी भ्रष्टाचार की नई-नई तरकीबें खोज ही लेते हैं. ऐसा ही एक मामला मोतिहारी के रक्सौल थाना के थाना प्रभारी ने खोज लिया. उन्होंने दुकानदार से लाखों का सामान ले लिया और जब दुकानदार ने पैसे की मांग की तो थाना प्रभारी महोदय ने उसे झूठे मुकदमे में फंसा दिया. खास बात यह कि, मामला यहीं नहीं रुका, बल्कि डीआईजी हरीकिशोर राय तक पहुंच गया. जब डीआईजी ने जांच शुरू की तो यह सत्य पाया कि दुकान से लाखों का सामान लेने के बाद जब पैसे की मांग की गई तो थाना प्रभारी ने दुकानदार को झूठे मुकदमे में फंसा दिया. अब डीआईजी ने रक्सौल के थाना प्रभारी को निलंबित कर दिया है.

पूरा मामला जिले के रक्सौल थाना क्षेत्र का है जहां पुलिस की कार्यशैली पर एक बार फिर सवाल खड़ा हुआ है. रक्सौल के थानाध्यक्ष राजीव नंदन सिन्हा पर एक दुकानदार से लाखों रुपये का सामान उधार लेने का आरोप लगा है. बाद में दुकानदार ने जब अपना पैसा वापस मांगना शुरू किया तो थानाध्यक्ष ने उल्टा उसे एक गलत मुकदमे में फंसा दिया. पीड़ित दुकानदार की कहानी जब चंपारण क्षेत्र के डीआईजी हरिकिशोर राय के पास पहुंची और उन्होंने जब पूरे मामले की जांच करवाई तो थानाध्यक्ष को दोषी पाया गया. इसके बाद भ्रष्ट इंस्पेक्टर सह थानाध्यक्ष को सस्पेंड कर दिया गया है और थानाध्यक्ष के विरुद्ध विभागीय कार्रवाई शुरू कर दी गई है.

गैस कटर गिरोह को संरक्षण देते थे थानाध्यक्ष

वहीं, एक दूसरा मामला भी जिले के ही पिपराकोठी थाना क्षेत्र का है जहां मोतिहारी एसपी स्वर्ण प्रभात ने पिपराकोठी थानाध्यक्ष पर बड़ी कार्रवाई करते हुए डीआईजी को निलंबित करने का अनुमोदन किया है. पिपराकोठी थानाध्यक्ष खालिद अख्तर पर आरोप है कि वह गैस कटर गिरोह को संरक्षण देते थे. इसके अलावा कोटवा में पकड़े गए अफीम की खेप का संचालन भी पिपराकोठी थाना क्षेत्र में होने का बड़ा खुलासा हुआ है. इसके मामले में मोतिहारी एसपी स्वर्ण प्रभात ने थानेदार पर कार्रवाई करने की अनुशंसा डीआईजी को पत्र भेज कर किया है.

झूठे केस में फंसाने के नाम पर घूस की वसूली

बता दें कि, मोतिहारी में पुलिस द्वारा भ्रष्टाचार का कोई नया खेल नहीं है, बल्कि इस खेल में खिलाड़ी पुराने हैं. लेकिन, पूर्वी चंपारण जिले के पुलिस कप्तान ने जिस तरह से भ्रष्टाचार को लेकर हंटर चलाना शुरू किया है दर्जनों थाना प्रभारी पर कार्रवाई हुई है. ऐसी स्थिति में सवाल यह उठता है कि अगर थानों के प्रभारी ही भ्रष्टाचार में लिप्त हैं तो क्षेत्र की जनता को क्या कानूनी न्याय मिल पा रहा होगा. झूठे केस में फंसाने, लोगों के नाम जोड़ने और नाम काटने की एवज में पैसे की मांग करना अब आम बात हो गई है. सवाल यह भी है कि आखिर इस भ्रष्टाचार की जड़ें कहां तक फैली हैं और कौन-कौन लोग हैं जो इस भ्रष्टाचार के नाले में जमकर डुबकी लगा रहे हैं.

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Vijay jha

पत्रकारिता क्षेत्र में 22 वर्षों से कार्यरत. प्रिंट, इलेट्रॉनिक एवं डिजिटल मीडिया में महत्वपूर्ण दायित्वों का निर्वहन. नेटवर्क 18, ईटीवी, मौर्य टीवी, फोकस टीवी, न्यूज वर्ल्ड इंडिया, हमार टीवी, ब्लूक्राफ्ट डिजिट...और पढ़ें

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