Last Updated:June 06, 2025, 11:56 IST
Ishan Tharoor: पहलगाम आतंकी हमला और ऑपरेशन सिंदूर के बाद भारत ने पाकिस्तान के बेनकाब करने के लिए दुनिया के विभिन्न देशों में अपना डेलिगेशन भेजा. इसमें कांग्रेस सांसद शशि थरूर भी शामिल थे.

कांग्रेस सांसद शशि थरूर कोलकाता लिट्रेचर फेस्टिवल में बेटे ईशान थरूर के साथ. (फोटो: पीटीआई/फाइल)
हाइलाइट्स
शशि थरूर के बेटे ईशान थरूर ने पहलगाम अटैक पर पिता से कठिन सवाल पूछेपाकिस्तान को बेनकाब करने वाले डेलिगेशन में कांग्रेस सांसद शशि थरूर भी थेथरूर से उनके बेटे ने वॉशिंगटन में एक इंटरव्यू के दौरान कई सवाल पूछे थेकांग्रेस सांसद शशि थरूर के बेटे ईशान थरूर अचानक सुर्खियों में आ गए हैं. उन्होंने पिता और देश के सीनियर पॉलिटिशयन शशि थरूर से पहलगाम अटैक और भारत-पाकिस्तान से जुड़े ऐसे-ऐसे सवाल पूछे जिसकी चर्चा हर तरफ हो रही है. अब सबके मन में एक ही सवाल उठने लगा है कि शशि थरूर के बेटे ईशान कौन हैं और वे क्या काम करते हैं?
अमेरिका में ऑपरेशन सिंदूर को लेकर आयोजित एक प्रेस कांफ्रेंस के दौरान एक असामान्य लेकिन खास पल देखने को मिला जब कांग्रेस सांसद शशि थरूर से उनके ही बेटे और वॉशिंगटन पोस्ट के पत्रकार ईशान थरूर ने तीखे सवाल पूछे. शशि थरूर अमेरिका में एक सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व कर रहे हैं, जो जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद अंतरराष्ट्रीय समुदाय को भारत के रुख से अवगत करा रहा है.
सख्त सवाल, उत्तम जवाब
ईशान थरूर ने अपने पिता से पूछा कि क्या किसी देश ने पाकिस्तान की संलिप्तता के सबूत मांगे हैं, खासकर उस आतंकी हमले में जिसमें 22 अप्रैल को 26 लोग मारे गए थे, जिनमें अधिकांश पर्यटक थे. इस पर शशि थरूर ने जवाब दिया कि भारत ने जो जवाबी कार्रवाई की, वह केवल ठोस और विश्वसनीय सबूतों के आधार पर की गई थी. उन्होंने कहा, ‘अगर हमारे पास पाकिस्तान की संलिप्तता को लेकर पक्के प्रमाण नहीं होते, तो भारत इतनी निर्णायक प्रतिक्रिया नहीं देता.’ ईशान ने यह भी सवाल उठाया कि पाकिस्तान लगातार इस हमले में अपनी भूमिका से इनकार करता रहा है. इस पर शशि थरूर ने कहा कि भारत ने अंतरराष्ट्रीय मंचों पर स्पष्ट रूप से सबूत पेश किए हैं और पाकिस्तान की बयानबाजी अब विश्वसनीय नहीं रही.
कौन हैं ईशान थरूर?
यह प्रेस कांफ्रेंस और पिता-पुत्र के बीच का संवाद भारत में चर्चा का विषय बन गया है. सोशल मीडिया पर लोगों ने इसे लोकतंत्र और पत्रकारिता की सुंदर झलक बताया है, जहां एक पत्रकार अपने ही पिता से कड़े सवाल करने से नहीं झिझकता. ईशान थरूर खुद भी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक स्थापित पत्रकार हैं. उनका जन्म 1984 में सिंगापुर में हुआ था, जब शशि थरूर संयुक्त राष्ट्र में कार्यरत थे. ईशान के जुड़वां भाई का नाम कनिष्क थरूर है. ईशान ने येल यूनिवर्सिटी से इतिहास विषय में पढ़ाई की और ‘सडलर फेलोशिप’ हासिल की.
टाइम मैगजीन से शुरुआत
अपने करियर की शुरुआत उन्होंने 2006 में टाइम मैगज़ीन से की, जहां वह रिपोर्टर से सीनियर एडिटर तक पहुंचे. साल 2014 में उन्होंने वॉशिंगटन पोस्ट जॉइन किया और तब से वह ग्लोबल अफेयर्स पर नियमित कॉलम लिखते हैं. इसके अलावा, उन्होंने साल 2018 से कुछ वर्षों तक जॉर्जटाउन यूनिवर्सिटी में ‘डिजिटल युग में वैश्विक मुद्दे’ विषय पर पढ़ाया भी. शशि थरूर और ईशान थरूर के इस संवाद ने दोनों को भारतीय मीडिया और आम जनता के केंद्र में ला दिया है. यह घटना इस बात का प्रतीक बन गई है कि भारतीय लोकतंत्र में सार्वजनिक पदों पर बैठे लोग भी पारदर्शिता और जवाबदेही के दायरे से बाहर नहीं हैं – भले ही सवाल पूछने वाला उनका अपना बेटा ही क्यों न हो.
बिहार, उत्तर प्रदेश और दिल्ली से प्रारंभिक के साथ उच्च शिक्षा हासिल की. झांसी से ग्रैजुएशन करने के बाद दिल्ली यूनिवर्सिटी से पत्रकारिता में PG डिप्लोमा किया. Hindustan Times ग्रुप से प्रोफेशनल कॅरियर की शु...और पढ़ें
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