Last Updated:July 26, 2025, 06:24 IST
राजस्थान स्थित झालावाड़ जिले के पिपलोदी गांव में स्कूल की छत ढहने से 7 बच्चों की मौत और 29 घायल हो गए. घायलों में कुछ छात्रों की हालत नाजुक बताई जा रही है. इस घटना को लेकर स्थानीय लोगों में काफी नाराजगी देखी जा...और पढ़ें

हाइलाइट्स
स्कूल की छत गिरने से 7 बच्चों की मौत.29 बच्चे घायल, 9 ICU में भर्ती.प्रशासनिक लापरवाही पर ग्रामीणों का विरोध.राजस्थान के झालावाड़ जिले में एक सरकारी स्कूल की छत ढहने से एक भयावह हादसा हो गया. इस हादमें सात बच्चों की मौत हो गई और 29 अन्य घायल हो गए. यह घटना झालावाड़ के पिपलोदी गांव के राजकीय उच्च प्राथमिक स्कूल में हुई, जहां सुबह की प्रार्थना सभा के दौरान स्कूल की छत अचानक ढह गई. इस हादसे ने न केवल स्थानीय समुदाय को झकझोर दिया, बल्कि स्कूल इंफ्रास्ट्रक्चर की सुरक्षा और प्रशासनिक लापरवाही पर गंभीर सवाल उठा दिए. बारिश के कारण स्कूल की जर्जर इमारत और भी कमजोर हो गई थी, जिससे यह हादसा और भी गंभीर हो गया.
यह हादसा न केवल एक इमारत के गिरने की कहानी है, बल्कि यह प्रशासनिक लापरवाही, ढहती शिक्षा व्यवस्था, और संवेदनहीन राजनीतिक व नौकरशाही रवैये का आईना भी है. इस घटना को लेकर जहां एक ओर प्रशासनिक कार्रवाई की मांग उठी, तो दूसरी ओर राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर भी शुरू हो गया. आइए इस पूरे मामले को विस्तार से समझते हैं…
यह हादसा कब, कहां और कैसे हुआ?
12 जुलाई 2025 की सुबह 7:45 बजे, झालावाड़ जिले के मनोहरथाना ब्लॉक के पीपलोदी गांव के सरकारी स्कूल में हादसा हुआ. बच्चे सुबह की प्रार्थना के लिए इकट्ठा हो रहे थे, तभी छठी और सातवीं कक्षा की छत ढह गई, जिससे करीब 35 छात्र दब गए.
कितने बच्चों की जान गई और कितने घायल हैं?
अब तक 7 बच्चों की मौत की पुष्टि हो चुकी है. 27 बच्चे घायल हुए, जिनमें से 9 ICU में भर्ती हैं और कुछ की हालत गंभीर बताई जा रही है. मृत बच्चों में एक भाई-बहन भी शामिल हैं.
हादसे की प्राथमिक वजह क्या मानी जा रही है?
स्कूल भवन पुराना और जर्जर था. छत में सीलन, दीवारों में दरारें और पौधे उग आए थे. ग्रामीणों ने पहले ही तहसीलदार और उपखंड अधिकारी को चेताया था, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई.
प्रशासन ने क्या कार्रवाई की?
स्थानीय लोग खुद दौड़कर पहुंचे और मलबे से बच्चों को निकालने में जुट गए. प्रशासन देर से पहुंचा. कई बच्चों को निजी वाहनों से अस्पताल ले जाया गया, जिससे प्रशासन पर लापरवाही का आरोप और गहराया.
स्थानीय लोगों की नाराजगी की वजह क्या?
गुस्साए ग्रामीणों ने गुराड़ी चौराहे पर विरोध प्रदर्शन किया, सड़क जाम की और टायर जलाकर प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की. उनकी मांग है कि सभी दोषी अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो.
अब तक क्या कार्रवाई हुई है?
स्कूल के 5 कर्मचारियों को सस्पेंड कर दिया गया है. उच्च स्तरीय जांच के आदेश दिए गए हैं. शिक्षा मंत्री ने गांव का दौरा करने और घायलों का सरकारी खर्च पर इलाज सुनिश्चित करने के निर्देश दिए.
पीड़ित परिवारों को मुआवजा या सहायता का क्या ऐलान हुआ?
राजस्थान मानवाधिकार आयोग ने सरकार से प्रत्येक मृतक के परिवार को 1 करोड़ रुपये का मुआवजा देने की सिफारिश की है. हालांकि, सरकार की ओर से अब तक मुआवजे की कोई स्पष्ट राशि घोषित नहीं की गई है.
राजनीतिक प्रतिक्रियाएं क्या रहीं?
पीएम मोदी, राष्ट्रपति मुर्मू और राहुल गांधी ने हादसे पर शोक जताया. सीएम भजनलाल शर्मा ने वीडियो संदेश में अधिकारियों को दोषियों पर कार्रवाई के निर्देश दिए.
पूर्व CM गहलोत, वसुंधरा राजे, ओम बिरला, टीकाराम जूली, गोविंद डोटासरा समेत कई नेताओं ने दुख जताया. वहीं विपक्ष ने इस घटना को सरकारी ढिलाई और खराब शासन का परिणाम बताया.
क्या हादसे को रोका जा सकता था?
बिल्कुल. ग्रामीणों ने पहले ही इमारत की खस्ता हालत की शिकायत की थी, लेकिन प्रशासन ने अनदेखी की. जिला प्रशासन के अनुसार, इस स्कूल को जर्जर भवनों की सूची में शामिल ही नहीं किया गया, जो सिस्टम फेल्योर को दर्शाता है.
आगे क्या? क्या सरकार कोई ठोस कदम उठा रही है?
सीएम भजनलाल ने कहा कि राज्यभर के स्कूल भवनों का निरीक्षण होगा ताकि ऐसे हादसे भविष्य में न हों. लेकिन यह पहली बार नहीं है जब हादसे के बाद ऑडिट की बातें हुई हों. अब देखना होगा कि क्या वास्तविक सुधार होता है या फिर यह भी एक घटना बनकर रह जाएगी.
झालावाड़ हादसा एक चेतावनी है कि शिक्षा सिर्फ किताबों और क्लासरूम्स तक सीमित नहीं, उसमें सुरक्षित इन्फ्रास्ट्रक्चर और संवेदनशील प्रशासन भी जरूरी है. मासूम जिंदगियां महज आंकड़े नहीं, बल्कि व्यवस्था के जिंदा सबूत हैं कि सुधार की जरूरत अब नहीं, तुरंत है.
An accomplished digital Journalist with more than 13 years of experience in Journalism. Done Post Graduate in Journalism from Indian Institute of Mass Comunication, Delhi. After Working with PTI, NDTV and Aaj T...और पढ़ें
An accomplished digital Journalist with more than 13 years of experience in Journalism. Done Post Graduate in Journalism from Indian Institute of Mass Comunication, Delhi. After Working with PTI, NDTV and Aaj T...
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Location :
Jhalawar,Rajasthan