क्‍या भविष्‍य में खत्‍म जाएगी बैंकों की जरूरत, 2 पिलर पर टिकी है इसकी नींव

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Last Updated:September 30, 2025, 15:38 IST

Fintech is Future : क्‍या भविष्‍य में फिनटेक ही फाइनेंस का फ्यूचर होगा. इस सवाल का जवाब देना अभी जल्‍दबाजी जरूर है, लेकिन इसकी ग्रोथ देखकर यह इनकार करना मुश्किल है कि फिनटेक और डिजिटल पेमेंट ही आने वाले फाइनेंस की नींव बनेंगे.

क्‍या भविष्‍य में खत्‍म जाएगी बैंकों की जरूरत, 2 पिलर पर टिकी है इसकी नींवफिनटेक और डिजिटल पेमेंट की ग्रोथ तेजी से बढ़ रही है.

नई दिल्‍ली. अगर आपसे कहा जाए कि भविष्‍य में बैंकों और उनके ब्रांच की जरूरत खत्‍म हो जाएगी तो शायद किसी को यकीन नहीं होगा. लेकिन, जिस तरह से भविष्‍य के फाइनेंस का माजरा बदल रहा है, उससे यह बात अतिशयोक्ति नहीं लगती. फाइनेंस का मौजूदा स्‍वरूप किस तरह बदल रहा है, अगर इस बात को आप समझ लेंगे तो यह समझते देर नहीं लगेगी कि कैसे धीरे-धीरे बैंकों की अहमियत और जरूरत खत्‍म होती जा रही है. फाइनेंस के 2 ऐसे पिलर हैं, जिन पर आने वाले समय की आधारशिला तैयार हो रही है.

फिनटेक और डिजिटल भुगतान ने पिछले कुछ साल में जिस तरह से अपना विस्‍तार किया है और हर प्रोडक्‍ट व सेवाओं को घर बैठे उपलब्‍ध कराना शुरू कर दिया है, उससे यह कहना गलत नहीं होगा कि आने वाले समय में शायद ही आपको कभी अपने बैंक जाने की जरूरत पड़े. फिनटेक और उनके डिजिटल भुगतान सहित अन्‍य ऑनलाइन सेवाओं ने पारंपरिक बैंकों को अभी से चुनौती देना शुरू कर दिया है. अगर आप 5 बड़े बदलावों पर नजर डालेंगे तो भविष्‍य की तस्‍वीर एकदम साफ हो जाएगी.

कितना बड़ा है यह बदलाव
फिनटेक (फाइनेंशियल टेक्नोलॉजी) और डिजिटल पेमेंट्स वित्तीय दुनिया को पूरी तरह से बदल रहे हैं. ये न केवल पारंपरिक बैंकिंग को चुनौती दे रहे हैं, बल्कि तेजी, सुविधा और समावेशिता के साथ भविष्य के फाइनेंस को आकार दे रहे हैं. ग्लोबल पेमेंट्स रिपोर्ट के अनुसार, साल 2025 तक ट्रांजेक्शन से जुड़े रेवेन्यू में 6% सालाना वृद्धि का अनुमान है, जो कार्ड यूज, इंस्टेंट पेमेंट्स और नए इकोसिस्टम्स पर आधारित होंगे. 5 बड़े बदलावों से समझते हैं भविष्‍य का रास्‍ता कैसे बदल रहा है.

बढ़ रही तेजी और दक्षता
डिजिटल पेमेंट्स से लेनदेन तुरंत हो जाते हैं, जैसे UPI या Zelle के जरिये. पारंपरिक बैंकिंग में जहां ट्रांसफर में पूरा दिन लगता था, अब सेकंड्स में ही यह सब पूरा होता है. फिनटेक AI और डेटा एनालिटिक्स का इस्तेमाल कर पर्सनलाइज्ड सर्विसेज देता है, जैसे रियल-टाइम फ्रॉड डिटेक्शन या ऑटोमेटेड इन्वेस्टमेंट. इससे लागत कम होती है और यूजर्स को बेहतर अनुभव मिलता है. जाहिर है कि ग्राहक बैंक और उनकी ब्रांच तक जाने के बजाय अपने मोबाइल पर ही सारी सुविधाओं का लाभ उठाना बेहतर समझते हैं.

आसान और तेज पहुंच से बढ़ी चुनौती
दुनिया में करोड़ों लोगों के पास आज भी बैंकिंग सुविधा नहीं है, लेकिन मोबाइल वॉलेट्स (जैसे Apple Pay, Google Pay) और फिनटेक ऐप्स से वे आसानी से फाइनेंशियल सर्विसेज का लाभ उठा सकते हैं. वर्ल्ड बैंक के अनुसार, COVID-19 ने इस डिजिटाइजेशन को तेज किया, जिससे आर्थिक विकास को बढ़ावा मिला. छोटे व्यवसायों के लिए फिनटेक 94% संतुष्टि स्तर पर पहुंच गया है, क्योंकि यह फ्लेक्सिबल पेमेंट्स और तेज ट्रांजेक्शन देता है.

इनोवेशन और नई टेक्नोलॉजी का संगम
ब्लॉकचेन और क्रिप्टोकरेंसी से पीयर-टू-पीयर ट्रांजेक्शन बिना किसी इंटरमीडियरी के हो रहे हैं, जो फीस और समय बचाते हैं. इसका मतलब है कि इसमें भुगतान के लिए किसी बिचौलिए की जरूरत नहीं होगी और न ही कोई ट्रांजेक्‍शन फीस देना होगा. फिलहाल Paytm, WeChat और फोनपे जैसे कई सुपर ऐप पेमेंट्स को अन्य सर्विसेज के साथ इंटीग्रेट कर रहे हैं, जो यूजर रेवेन्यू को बढ़ा रहे हैं. साल 2025 में B2B यानी बिजनेस से बिजनेस पेमेंट्स में रियल-टाइम सॉल्यूशंस की डिमांड बढ़ी है.

सुरक्षा और नियंत्रण
AI-ड्रिवन फ्रॉड प्रिवेंशन जैसी तकनीक से ट्रांजेक्शन सुरक्षित हो रहे हैं. रेगुलेटर्स (जैसे RBI, IMF) डिजिटल करेंसी और फिनटेक को सपोर्ट कर रहे हैं, लेकिन प्राइवेसी और साइबर सिक्योरिटी पर फोकस है. भारत ही नहीं, पूरी दुनिया में डिजिटल भुगतान की ग्रोथ रेट 9.4 फीसदी है. यह आंकड़े बताते हैं कि फिनटेक कितनी मजबूती से अपनी ग्रोथ बढ़ा रहे हैं. अब तो कार्ड का पेमेंट भी ऐप ट्रांजेक्‍शन के मुकाबले काफी पीछे छूट चुका है.

Pramod Kumar Tiwari

प्रमोद कुमार तिवारी को शेयर बाजार, इन्‍वेस्‍टमेंट टिप्‍स, टैक्‍स और पर्सनल फाइनेंस कवर करना पसंद है. जटिल विषयों को बड़ी सहजता से समझाते हैं. अखबारों में पर्सनल फाइनेंस पर दर्जनों कॉलम भी लिख चुके हैं. पत्रकारि...और पढ़ें

प्रमोद कुमार तिवारी को शेयर बाजार, इन्‍वेस्‍टमेंट टिप्‍स, टैक्‍स और पर्सनल फाइनेंस कवर करना पसंद है. जटिल विषयों को बड़ी सहजता से समझाते हैं. अखबारों में पर्सनल फाइनेंस पर दर्जनों कॉलम भी लिख चुके हैं. पत्रकारि...

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Location :

New Delhi,Delhi

First Published :

September 30, 2025, 15:38 IST

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