हंसुआ के बियाह में खुरपी का गीत... तेजस्वी ने तूने ये क्या कर डाला?

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Last Updated:August 24, 2025, 18:51 IST

Rahul Gandhi Tejashwi Yadav News: पूर्णिया में राहुल गांधी और तेजस्वी यादव की साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद क्या महागठबंधन में नेतृत्व को लेकर असमंजस बढ़ा? क्या तेजस्वी यादव बिहार चुनाव 2025 में महागठबंधन का चेह...और पढ़ें

हंसुआ के बियाह में खुरपी का गीत... तेजस्वी ने तूने ये क्या कर डाला?क्या तेजस्वी यादव नहीं बनेंगे महागठबंधन में सीएम फेस?

पूर्णिया: बिहार की राजनीति में एक बार फिर से महागठबंधन के भीतर नेतृत्व को लेकर हलचल तेज हो गई है. पूर्णिया में ‘वोटर अधिकार यात्रा’ के दौरान राहुल गांधी और तेजस्वी यादव की साझा प्रेस कॉन्फ्रेंस ने जितनी उम्मीदें जगाईं, उतने ही सवाल भी खड़े कर दिए. बिहार में आरजेडी के सीएम फेस ढोल बजा-बजाकर राहुल गांधी को प्रधानमंत्री बनने की बात कर रहे हैं. लेकिन जब पूर्णिया में राहुल गांधी से पत्रकारों ने तेजस्वी को सीएम बनाने का सवाल किया तो वह हंसुआ के बियाह में खुरपी का गीत यानी सवाल कुछ और जवाब कुछ देने लगे. इससे तेजस्वी यादव के साथ-साथ उनके सिपहसलार संजय यादव भी चौंक गए. ऐसे में बड़ा सवाल यह कि क्या राहुल गांधी तेजस्वी यादव को मुख्यमंत्री पद का चेहरा मानते हैं? या फिर कांग्रेस की नजरें किसी और फार्मूले पर है?

पूर्णिया में राहुल गांधी और तेजस्वी यादव जब एक ही मंच पर आए तो सियासी संदेश साफ था महागठबंधन एकजुट है. दोनों नेताओं ने ईवीएम, वोटर लिस्ट से नाम काटने के आरोप, जातीय जनगणना और महंगाई जैसे मुद्दों पर केंद्र और एनडीए सरकार को घेरा. राहुल गांधी ने कहा, ‘ये यात्रा बिहार के लोकतंत्र को बचाने की लड़ाई है. हम हर उस व्यक्ति के साथ हैं जो संविधान और अधिकारों की बात करता है.’ तेजस्वी यादव ने भी राहुल गांधी के समर्थन में कहा, ‘बिहार बदलाव चाहता है और राहुल जी इस लड़ाई में सबसे आगे हैं. हम सब एकजुट हैं.’

तेजस्वी को राहुल पसंद… लेकिन उलझन क्यों?

लेकिन जब एक पत्रकार ने सवाल किया? तेजस्ली यादव एक तरीके से कह चुके हैं कि जब देश में अगली सरकार बनेगी तो राहुल गांधी पीएम बनेंगे. संविधान बचाने के लिए, लोकतंत्र बचाने के लिए लोगों को भरोसा है कि आप उस पर काम करेंगे. लेकिन आपकी पार्टी साफ क्यों नहीं कर रही है तेजस्वी यादव बिहार के सीएम बनेंगे? इस सवाल पर राहुल गांधी ने सीधा जवाब न देकर घुमाकर जवाब दिया. राहुल गांधी ने सीधा जवाब देने से परहेज किया. उन्होंने कहा, देखिए बहुत अच्छे तरीके से एक पार्टनरशीप बनी है. सारी की सारी पार्टियां एक साथ जुड़कर काम कर रही हैं. कोई टेंशन नहीं म्यूचु्अल रिस्पेक्ट है. एक-दूसरे की मदद हो रही है मजा भी आ रहा है. आइडेलोजिकली हम एलान्इड हैं, पॉलिटिकली हम एलान्इंड हैं. बहुत अच्छा रिजल्ट आएगा मगर वोट चोरी को रोकना है.’

महागठबंधन का सीएम चेहरा कौन?

इस जवाब को न तो साफ ‘ना’ माना जा सकता है, और न ही ‘हां’ लेकिन सियासी गलियारों में इसे कांग्रेस की रणनीति का हिस्सा माना जा रहा है. जैसे ही राहुल गांधी का यह वीडियो वायरल हुआ बीजेपी ने तेजस्वी को चुटकी लेते हुए तंज कंसते हुए कहा, ‘तेजस्वी को तो राहुल पसंद है, लेकिन राहुल को तेजस्वी कतई पसंद नहीं है! कांग्रेस का खेला अंदर-अंदर जरूर है!’

किस रणनीति पर काम कर रहे राहुल गांधी

तेजस्वी यादव, जो पिछले विधानसभा चुनाव में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को लगभग चुनौती देने की स्थिति में आ गए थे, आज भी महागठबंधन के सबसे लोकप्रिय नेता माने जाते हैं. उनका जनाधार, खासकर युवा और पिछड़े तबके में काफी मजबूत है. तेजस्वी ने कई बार राहुल गांधी को सार्वजनिक रूप से ‘नेता’, ‘मार्गदर्शक’ और ‘संघर्षशील’ नेता बता चुके हैं. वे कांग्रेस को सम्मान देते हुए आगे बढ़ना चाहते हैं. लेकिन कांग्रेस के भीतर यह चिंता है कि कहीं पूरा महागठबंधन आरजेडी की छत्रछाया में न चला जाए. कांग्रेस चाहती है कि इस बार सीएम चेहरा तय करने से पहले सीट शेयरिंग, मुद्दों की प्राथमिकता और समान नेतृत्व की बातें तय हों.

पूर्णिया में राहुल गांधी औऱ तेजद्सवी की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद महागठबंधन के भीतर ‘सामूहिक नेतृत्व’ की मांग तेज हो गई है. सूत्रों के मुताबिक, कांग्रेस 2025 के लिए मुख्यमंत्री चेहरे की बजाय ‘समूह नेतृत्व मॉडल’ पर जोर दे सकती है, जिसमें फैसले सर्वसम्मति से लिए जाएंगे. यह भी संभव है कि चुनाव से पहले किसी एक नेता को चेहरा घोषित न किया जाए, बल्कि चुनाव परिणाम आने के बाद सर्वसम्मति से नेता तय हो. इससे महागठबंधन के भीतर चल रही सत्ता की खींचतान से बचा जा सके. ऐसे में तेजस्वी और राहुल भले ही मंच पर साथ हों, लेकिन नेतृत्व की राह अब भी जटिल है.

रविशंकर सिंहचीफ रिपोर्टर

भारतीय विद्या भवन से पत्रकारिता की पढ़ाई करने वाले रविशंकर सिंह सहारा समय न्यूज चैनल, तहलका, पी-7 और लाइव इंडिया न्यूज चैनल के अलावा फर्स्टपोस्ट हिंदी डिजिटल साइट में भी काम कर चुके हैं. राजनीतिक खबरों के अलावा...और पढ़ें

भारतीय विद्या भवन से पत्रकारिता की पढ़ाई करने वाले रविशंकर सिंह सहारा समय न्यूज चैनल, तहलका, पी-7 और लाइव इंडिया न्यूज चैनल के अलावा फर्स्टपोस्ट हिंदी डिजिटल साइट में भी काम कर चुके हैं. राजनीतिक खबरों के अलावा...

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First Published :

August 24, 2025, 18:51 IST

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