विपक्षी दलों का INDIA गठबंधन टूटा! बिहार की चुनावी हार बनी ताबूत में आखिरी कील

1 hour ago

Last Updated:November 19, 2025, 18:02 IST

INDIA Alliance Breakup: विपक्षी दलों का INDIA गठबंधन लगभग टूट गया है. कांग्रेस अब इस धड़े से जुड़े नहीं रहना चाहती. बिहार चुनाव में मिली हार इस गठबंधन के लिए आखिरी झटका साबित हुई. हार के बाद गठबंधन के भीतर मौजूद पॉवर संघर्ष और सीट शेयरिंग के विवाद खुलकर सामने आ गए. कई बड़े रीजनल दलों ने खुद को अलग कर लिया है. इसकी मुख्य वजह आपसी तालमेल की कमी और बड़े दलों की डिक्टेटरशिप रही.

विपक्षी दलों का INDIA गठबंधन टूटा! बिहार की चुनावी हार बनी ताबूत में आखिरी कीलपरवान नहीं चढ़ सके INDIA गठबंधन के अरमान. (File Photo : PTI)

नई दिल्ली: INDIA गठबंधन अब आखिरी सांसें ले रहा है. मुख्‍य पार्टी कांग्रेस ने हाथ खींच लिए हैं. पार्टी क्षेत्रीय दलों से ‘पर्याप्त सहयोग’ नहीं मिलने से खफा है. सूत्रों के मुताबिक, नेहरू-गांधी परिवार अब इस गठबंधन को खत्म करने का मन बना चुका है. यह घटनाक्रम विपक्ष की पूरी राजनीति के लिए बड़ा झटका है. बिहार में मिली करारी हार इस गठबंधन के ताबूत में आखिरी कील साबित हुई. अंदर ही अंदर टूट चुके रिश्ते अब सामने आ गए हैं. कई दल महीनों से नाराज थे. सीट शेयरिंग पर मतभेद बढ़े. रणनीति पर असहमति खुली टकराहट में बदल गई. बिहार नतीजों ने पूरे समीकरण को पलट दिया. कांग्रेस और RJD दोनों एक-दूसरे पर हार का ठीकरा फोड़ते दिखे. बाकी सहयोगी दलों ने भी गठबंधन की दिशा और नेतृत्व पर सवाल उठाए. कई मीटिंग्स हुईं, मगर कोई सहमति नहीं बनी. आखिरकार, गठबंधन ने दम तोड़ दिया.

18 जुलाई 2023 को INDIA गठबंधन के बैनर तले 20 से ज्यादा विपक्षी दल साथ आए थे. लेकिन यह एक्सपेरिमेंट सिर्फ एक चुनाव चक्र में ही ढह गया. यह डेवलपमेंट बीजेपी (BJP) के लिए राहत की खबर है. इससे उन्हें अगले चुनावों में एक बिखरे हुए विपक्ष का सामना करना पड़ेगा. जानकारों का कहना है कि यह गठबंधन सिर्फ इलेक्शन की मजबूरी था, पॉलिटिकल केमिस्ट्री नहीं.

क्या था INDIA गठबंधन? कैसा रहा इसका चुनावी ट्रैक रिकॉर्ड

INDIA गठबंधन विपक्षी दलों का एक बड़ा फ्रंट था जिसे 2023 में लॉन्च किया गया था. इसका पूरा नाम ‘Indian Developmental Inclusive Alliance’ था. इसका मकसद था कि भाजपा और NDA के खिलाफ एक मजबूत, संयुक्त और कोऑर्डिनेटेड राजनीतिक ताकत तैयार की जाए. उस वक्त इस गठबंधन में कांग्रेस, RJD, DMK, TMC, आप, जेडीयू, SP, NCP (शरद पवार गुट), शिवसेना (उद्धव ठाकरे गुट), CPI-M जैसे कई बड़े दल शामिल थे. आइडिया यह था कि अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग दलों की ताकत का फायदा उठाकर एक पैन-इंडिया विरोधी गठबंधन तैयार किया जाए. INDIA गठबंधन ने 2024 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी के लिए चुनौती खड़ी की. हालांकि, गठबंधन केंद्र में सरकार बनाने का मैजिक नंबर हासिल नहीं कर सका, लेकिन इसने उम्मीदों से बेहतर प्रदर्शन किया और बीजेपी को अकेले बहुमत हासिल करने से रोक दिया. कई राज्यों में इस गठबंधन ने सीट शेयरिंग के साथ चुनाव लड़ा. हालांकि, गठबंधन को महाराष्‍ट्र, हरियाणा, छत्तीसगढ़, राजस्थान, आंध्र प्रदेश, मध्‍य प्रदेश और बिहार विधानसभा चुनाव जैसे रीजनल इलेक्शंस में बड़ी हार का सामना करना पड़ा. इस हार ने गठबंधन की अंदरूनी कमजोरियों को उजागर कर दिया. सीट शेयरिंग को लेकर विवाद और आपसी तालमेल की कमी ने इस पॉलिटिकल यूनिट को कमजोर किया. बिहार की हार गठबंधन के टूटने की आखिरी कील साबित हुई. सबसे बड़ा झटका 2025 बिहार विधानसभा चुनाव ने दिया. RJD-कांग्रेस गठबंधन पहले से ही कमजोर मोड में था. नीतीश कुमार दोबारा NDA के साथ जा चुके थे. सीट शेयरिंग पर INDIA पार्टियों के भीतर भी मतभेद बने रहे. चुनावी नतीजे विपक्षी धड़े के लिए बेहद खराब रहे. विपक्ष को लगा कि यह हार एक संयुक्त प्लेटफॉर्म की असफल रणनीति का नतीजा है. इसके बाद कई दलों ने खुलकर नेतृत्व और स्ट्रक्चर पर सवाल उठाए.

क्यों बिखरा विपक्ष का INDIA गठबंधन?

पहली मीटिंग्स में तालमेल, एजेंडा और एक साझा विजन की बात हुई. लेकिन भीतर की दरारें बहुत जल्दी सामने आने लगीं. कई दल कांग्रेस के नेतृत्व से सहज नहीं थे. कुछ दलों को सीट शेयरिंग में नुकसान का डर था. कई राज्यों में सहयोगी एक-दूसरे के खिलाफ लड़ते रहे. सार्वजनिक मंचों पर एकता की बात हुई, लेकिन जमीन पर तालमेल नहीं बन पाया. यही कमजोरी बाद में बड़े चुनावी नुकसानों में बदल गई.

INDIA गठबंधन ने शुरुआती उम्मीदों के बावजूद उतना प्रभाव नहीं दिखाया. कई राज्यों में, खास तौर पर उत्तर प्रदेश, बंगाल, दिल्ली और पंजाब में सीट शेयरिंग की खींचतान चली. कुछ जगहों पर यह फाइनल भी नहीं हो पाया. नतीजा यह हुआ कि वोट बंट गए और NDA को फायदा मिला. कई सहयोगी दलों को लगा कि अगर गठबंधन ठीक से चलता तो बेहतर प्रदर्शन संभव था.

Deepak Verma

दीपक वर्मा न्यूज18 हिंदी (डिजिटल) में डिप्टी न्यूज एडिटर के रूप में काम कर रहे हैं. लखनऊ में जन्मे और पले-बढ़े दीपक की जर्नलिज्म जर्नी की शुरुआत प्रिंट मीडिया से हुई थी, लेकिन जल्द ही उन्होंने डिजिटल प्लेटफॉर्म...और पढ़ें

दीपक वर्मा न्यूज18 हिंदी (डिजिटल) में डिप्टी न्यूज एडिटर के रूप में काम कर रहे हैं. लखनऊ में जन्मे और पले-बढ़े दीपक की जर्नलिज्म जर्नी की शुरुआत प्रिंट मीडिया से हुई थी, लेकिन जल्द ही उन्होंने डिजिटल प्लेटफॉर्म...

और पढ़ें

न्यूज़18 को गूगल पर अपने पसंदीदा समाचार स्रोत के रूप में जोड़ने के लिए यहां क्लिक करें।

Location :

New Delhi,Delhi

First Published :

November 19, 2025, 17:58 IST

homenation

विपक्षी दलों का INDIA गठबंधन टूटा! बिहार की चुनावी हार बनी ताबूत में आखिरी कील

Read Full Article at Source