ऐसा क्या हुआ कि सुप्रीम कोर्ट ने तीनों सेना प्रमुख को जारी कर दिया नोटिस

1 month ago

Last Updated:August 18, 2025, 16:41 IST

Supreme Court News: सुप्रीम कोर्ट ने दिव्यांग कैडेटों पर स्वत: संज्ञान लेते हुए केंद्र और सेना प्रमुखों को नोटिस जारी किया. जस्टिस नागरत्ना ने बीमा और नौकरी पर सवाल उठाए. अगली सुनवाई 4 सितंबर को होगी.

ऐसा क्या हुआ कि सुप्रीम कोर्ट ने तीनों सेना प्रमुख को जारी कर दिया नोटिससुप्रीम कोर्ट ने सेना और केंद्र को नोटिस जारी किया है. (फाइल फोटो)

नई दिल्ली. मिलिट्री ट्रेनिंग के दौरान दिव्यांगता के चलते बाहर किए गए कैडेटों की स्थिति को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने कड़ा रुख अपनाया है. जस्टिस बीवी नागरत्ना और जस्टिस आर महादेवन की बेंच ने इस मामले पर स्वत: संज्ञान लेते हुए केंद्र सरकार के साथ-साथ वायुसेना, थल सेना और नौसेना प्रमुखों को नोटिस जारी किया है. नियमानुसार कमीशन से पहले दिव्यांग होने वाले कैडेट्स पूर्व सैनिकों को मिलने वाली सुविधाओं के हकदार नहीं होते हैं.

सुप्रीम कोर्ट ने यह कदम एक मीडिया रिपोर्ट के आधार पर उठाया है. रिपोर्ट में बताया गया था कि 1985 से अब तक करीब 500 अधिकारी कैडेटों को ट्रेनिंग के दौरान हुई विभिन्न प्रकार की दिव्यांगताओं के चलते मेडिकल आधार पर संस्थानों से छुट्टी दे दी गई है. ये कैडेट कभी एनडीए (नेशनल डिफेंस एकेडमी) और आईएमए (इंडियन मिलिट्री एकेडमी) जैसे प्रतिष्ठित सैन्य संस्थानों में प्रशिक्षण ले रहे थे.

सुनवाई के दौरान जस्टिस नागरत्ना ने सवाल किया कि क्या ट्रेनी कैडेट्स के लिए कोई बीमा पॉलिसी है? हम चाहते हैं कि बहादुर लोग सेना में शामिल हों, लेकिन अगर जरूरत पड़ने पर उन्हें कोई आर्थिक लाभ ही नहीं मिलेगा, तो यह उनके मनोबल को कमजोर करेगा. इसके साथ ही बेंच ने सरकार से यह भी पूछा कि प्रशिक्षण के दौरान दिव्यांग हुए कैडेट्स को सेना में किसी अन्य पद पर नौकरी देने की संभावना पर क्या विचार किया जा सकता है. इस मामले में अब अगली सुनवाई 4 सितंबर को होगी.

नियमों के अनुसार दिव्यांग कैडेट्स पूर्व सैनिक (ईएसएम) का दर्जा पाने के हकदार नहीं हैं, इसी वजह से वे पूर्व सैनिक अंशदायी स्वास्थ्य योजना (ईसीएचएस) के तहत मिलने वाली सैन्य सुविधाओं और सूचीबद्ध अस्पतालों में मुफ्त इलाज के लिए पात्र भी नहीं हो पाते. ऐसा इसलिए क्योंकि वे अधिकारी के रूप में कमीशन प्राप्त करने से पहले प्रशिक्षण के दौरान ही दिव्यांग हो चुके थे.

Rakesh Ranjan Kumar

राकेश रंजन कुमार को डिजिटल पत्रकारिता में 10 साल से अधिक का अनुभव है. न्यूज़18 के साथ जुड़ने से पहले उन्होंने लाइव हिन्दुस्तान, दैनिक जागरण, ज़ी न्यूज़, जनसत्ता और दैनिक भास्कर में काम किया है. वर्तमान में वह h...और पढ़ें

राकेश रंजन कुमार को डिजिटल पत्रकारिता में 10 साल से अधिक का अनुभव है. न्यूज़18 के साथ जुड़ने से पहले उन्होंने लाइव हिन्दुस्तान, दैनिक जागरण, ज़ी न्यूज़, जनसत्ता और दैनिक भास्कर में काम किया है. वर्तमान में वह h...

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Location :

New Delhi,Delhi

First Published :

August 18, 2025, 16:31 IST

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