Last Updated:June 16, 2025, 15:05 IST
Crude Reserve : भारत को अंडमान के समंदर में बड़ा तेल भंडार मिला है. फिलहाल इसकी रिचर्स जारी है और अगर यह रिजर्व मिल जाता है तो भारत की अर्थव्यवस्था का आकार एक झटके में करीब 5 गुना तक बढ़ जाता है.

अंडमान के समंदर में भारत को खरबों डॉलर का तेल भंडार मिला है.
हाइलाइट्स
अंडमान में बड़ा तेल भंडार मिला है.भारत की जीडीपी 5 गुना बढ़ सकती है.भारत अपनी 85% तेल जरूरतें आयात करता है.नई दिल्ली. भारत के हाथ समंदर में ऐसा खजाना लगा है कि इसके मिलने के बाद हमारी अर्थव्यवस्था एक झटके में 5 गुना बढ़ जाएगी. अभी तक जिस चीज के लिए हम दुनियाभर में हाथ फैलाए घूमते हैं, उसके लिए आगे से दुनिया हमारे पास हाथ फैलाए खड़ी दिखेगी. इसकी पूरी जानकारी सरकार ने खुद दी है. सरकार ने बताया कि अंडमान के गहरे समंदर में यह खजाना दिखा है और इसे प्राप्त करने के लिए रिसर्च के साथ गहरे समंदर से इसे निकालने की तैयारियां भी शुरू कर दी है.
केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने बताया है कि अंडमान के समंदर में कच्चे तेल और गैस का बड़ा भंडार दिखा है. माना जा रहा है कि इसके मिलने के बाद हमारी ऊर्जा जरूरतें एक झटके में पूरी हो जाएंगी. उन्होंने अनुमान लगाया कि यह पेट्रोलियम भंडार हाल ही में गुयाना में मिले कच्चे तेल के रिजर्व जितना ही लग रहा है. अगर खोज और शोध में यह अनुमान सही निकला तो भारत की जीडीपी का आकार भी एक झटके में करीब 5 गुना तक बढ़ सकता है.
जरूरत का 85 फीसदी तेल खरीदता है भारत
भारत के लिए कच्चे तेल का यह भंडार कितना मायने रखता है, इस बात का अंदाजा आप इसी से लगा सकते हैं कि अभी हम अपनी जरूरत का 85 से 86 फीसदी कच्चा तेल दूसरे देशों से मंगाते हैं. भारत फिलहाल 42 देशों से कच्चे तेल की खरीद करता है, लेकिन ईरान और इजराइल में जारी युद्ध का असर इस पर बखूबी पड़ सकता है. भारत कुल खरीद का करीब 46 फीसदी तेल मिडिल ईस्ट से मंगाता है और दोनों देशों के बीच जारी तनाव से यहां तेल महंगा होने की आशंका है. जाहिर है कि इसका सीधा असर भारत के 8 लाख करोड़ रुपये से भी ज्यादा के तेल आयात बिल पर भी दिखेगा.
कितना बड़ा है यह भंडार
केंद्रीय मंत्री के अनुसार, अंडमान के समंदर मिला यह तरल सोना हाल में ही गुयाना में पाए गए भंडार जितना ही लग रहा है. गुयाना में हाल में ही 11.6 अरब बैरल तेल एवं गैस का भंडार मिला है, जिसे चीन की कंपनी के साथ मिलकर खोजा गया. इस भंडार के बाद गुयाना कच्चे तेल के उत्पादन में टॉप पर पहुंच सकता है, जो अभी 17वें पायदान पर है. माना जा रहा कि भारत का तेल भंडार भी लगभग 12 अरब बैरल का है.
भारत को कितना होगा फायदा
केंद्रीय मंत्री ने बताया कि अगर यह तेल भंडार हमारे अनुमान के मुताबिक ही है और इसे निकाला जा सका तो न सिर्फ भारत की ऊर्जा जरूरतें एक झटके में पूरी हो जाएंगी, बल्कि अर्थव्यवस्था को भी बढ़ावा मिलेगा. अभी भारत की जीडीपी का आकार करीब 3.7 ट्रिलियन डॉलर है, जो इस ऑयल रिजर्व के मिलने के बाद 20 ट्रिलियन डॉलर पहुंच सकता है. फिलहाल इस भंडार के रिसर्च और इसे निकालने के तरीकों पर काम जारी है और अगर यह मिल जाता है तो अर्थव्यवस्था को लंबी अवधि में काफी फायदा होगा.
अभी कहां से निकाला जाता है तेल
अंडमान के तेल भंडार से पहले भारत में कई और जगहों से कच्चा तेल निकाला जाता है. भारत अभी असम, गुजरात, राजस्थान, मुंबई और कृष्णा-गोदावरी बेसिन से कच्चा तेल निकालता है. कच्चे तेल के भंडार के साथ ही भारत ने रिफाइन किए गए कच्चे तेल का भी विशाल भंडार तैयार किया है. यह भंडार विशाखापत्तनम, मैंगलोर अैर पुदुर में स्थित है. इसके अलावा ओडिशा और राजस्थान में भी ऑयल रिजर्व बनाया जा रहा है.
प्रमोद कुमार तिवारी को शेयर बाजार, इन्वेस्टमेंट टिप्स, टैक्स और पर्सनल फाइनेंस कवर करना पसंद है. जटिल विषयों को बड़ी सहजता से समझाते हैं. अखबारों में पर्सनल फाइनेंस पर दर्जनों कॉलम भी लिख चुके हैं. पत्रकारि...और पढ़ें
प्रमोद कुमार तिवारी को शेयर बाजार, इन्वेस्टमेंट टिप्स, टैक्स और पर्सनल फाइनेंस कवर करना पसंद है. जटिल विषयों को बड़ी सहजता से समझाते हैं. अखबारों में पर्सनल फाइनेंस पर दर्जनों कॉलम भी लिख चुके हैं. पत्रकारि...
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