आप भी खाते हैं BP, बुखार और पेन किलर्स तो सावधान! 186 दवाओं के सैंपल हो गए फेल

7 hours ago

Last Updated:June 21, 2025, 12:42 IST

Baddi Medicine Sample Failed: हिमाचल प्रदेश के बद्दी में बनी दवाओं के सैंपल लगातार फेल हो रहे हैं. लगातार मामले सामने आ रहे हैं और केवल दवाओं को बाजार से वापस मंगवा लिया जाता है.

आप भी खाते हैं BP, बुखार और पेन किलर्स तो सावधान! 186 दवाओं के सैंपल हो गए फेल

हिमाचल में बनी दवाओं के सैंपल फेल हो गए हैं.

सोलन. हिमाचल प्रदेश में दवा उद्योग को बड़ा झटका लगा है, क्योंकि जून 2025 के ड्रग अलर्ट में राज्य की 45 दवाओं समेत देशभर की 186 दवाओं के सैंपल गुणवत्ता मानकों पर खरे नहीं उतरे. सोलन जिला इस सूची में सबसे आगे है, जहां 33 दवाओं के सैंपल फेल हुए हैं. इसके अलावा, सिरमौर जिले की 9 और ऊना जिले की 3 दवाओं के सैंपल भी मानकों पर विफल रहे. फेल हुई दवाओं में पेट के कीड़े मारने वाली दवाएं, सीने की जलन के लिए इंजेक्शन, बुखार और संक्रमण को खत्म करने वाली दवाएं, गैस्ट्रिक समस्याओं के लिए इंजेक्शन और बैक्टीरिया नष्ट करने वाली दवाएं शामिल हैं.

राज्य दवा नियंत्रक मनीष कपूर ने इस मामले में सख्त रुख अपनाते हुए सभी संबंधित दवा कंपनियों को नोटिस जारी किए हैं. साथ ही, बाजार में मौजूद इन दवाओं का स्टॉक तत्काल प्रभाव से वापस मंगवाने के आदेश दिए गए हैं. कपूर ने कहा, “जनता की सुरक्षा और दवाओं की गुणवत्ता सुनिश्चित करना हमारी प्राथमिकता है. जिन कंपनियों के सैंपल बार-बार फेल हो रहे हैं, उनके खिलाफ नियमों के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी.”

सोलन के बद्दी क्षेत्र की स्विस गार्नियर लाइफ साइंस कंपनी की दो दवाएं फेल हुई हैं, जिनमें उच्च रक्तचाप के इलाज में इस्तेमाल होने वाला टीका टेल्मीसार्टन प्रमुख है. सिरमौर के कालाअंब में स्थित डच फॉर्मूलेशन कंपनी की तीन दवाएं भी इस सूची में शामिल हैं, जिनमें संक्रमण के लिए इस्तेमाल होने वाली ऑफ्लोक्सासिन और छाती के संक्रमण के लिए दी जाने वाली एजिथ्रोमाइसिन शामिल हैं.

नालागढ़ की पैराडॉक्स फार्मास्यूटिकल कंपनी सबसे ज्यादा प्रभावित हुई है, जिसके चार सैंपल फेल हुए हैं. इनमें एजिथ्रोमाइसिन के दो सैंपल, अमॉक्सिलिन का एक सैंपल और गैस्ट्रिक समस्याओं के लिए दी जाने वाली दवा पेंटाप्रोजोल का एक सैंपल शामिल है. इसके अलावा, बद्दी की मेडिपोल फार्मास्यूटिकल की दर्द निवारक दवा ब्रूफिन और आयरन सिरप भी गुणवत्ता मानकों पर खरे नहीं उतरे.

राज्य दवा नियंत्रक ने बताया कि यह ड्रग अलर्ट केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) द्वारा जारी किया गया है, जो दवाओं की गुणवत्ता की नियमित जांच करता है. फेल हुए सैंपल विभिन्न प्रयोगशालाओं में जांचे गए, जहां इनमें सक्रिय तत्वों की मात्रा, शुद्धता या प्रभावकारिता में कमी पाई गई.

मनीष कपूर ने कहा, “हमारी टीमें प्रभावित दवाओं के स्टॉक को बाजार से हटाने की प्रक्रिया में जुट गई हैं. कंपनियों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया है. यदि कोई कंपनी बार-बार मानकों का उल्लंघन करती पाई गई, तो उसका लाइसेंस रद्द करने सहित अन्य कानूनी कार्रवाई की जाएगी.

केवल अधिकृत और मान्यता प्राप्त दवा दुकानों से दवाएं खरीदें

हिमाचल प्रदेश, खासकर सोलन का बद्दी और नालागढ़ क्षेत्र, भारत का प्रमुख दवा निर्माण केंद्र है. इस घटना से राज्य के दवा उद्योग की साख पर सवाल उठ सकते हैं. विशेषज्ञों का कहना है कि ऐसी घटनाएं दवा कंपनियों को अपनी गुणवत्ता नियंत्रण प्रक्रियाओं को और सख्त करने के लिए प्रेरित करेंगी. राज्य दवा नियंत्रक ने जनता से अपील की है कि वे केवल अधिकृत और मान्यता प्राप्त दवा दुकानों से दवाएं खरीदें. साथ ही, यदि किसी दवा की गुणवत्ता पर संदेह हो, तो तुरंत स्थानीय दवा निरीक्षक से संपर्क करें. प्रभावित दवाओं की सूची जल्द ही CDSCO और राज्य दवा नियंत्रण विभाग की वेबसाइट पर उपलब्ध होगी.

Vinod Kumar Katwal

13 Years Experience in Print and Digital Journalism. Earlier used to Work With Dainik Bhaskar, IANS, Punjab Kesar and Amar Ujala . Currently, handling Haryana and Himachal Pradesh Region as a Bureau chief from ...और पढ़ें

13 Years Experience in Print and Digital Journalism. Earlier used to Work With Dainik Bhaskar, IANS, Punjab Kesar and Amar Ujala . Currently, handling Haryana and Himachal Pradesh Region as a Bureau chief from ...

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Location :

Solan,Himachal Pradesh

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